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पब्लिक बेहाल, पूरे नहीं हुए वादे: NGT ने ठोका केजरीवाल सरकार पर 50 करोड़ रुपए का जुर्माना!

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दिल्ली की जनता ने जब अरविंद केजरीवाल को सत्ता की बागडोर सौंपी थी तो लोगों ने बड़ी उम्मीदें पाल रखी थीं, लेकिन अब लोग ठगे हुए महसूस कर रहे हैं। दिल्ली की जनता को केजरीवाल सरकार से केवल भ्रष्टाचार, भाई-भतीजावाद, विकास के झूठे वादे, प्रशासनिक विफलताओं के साथ ही सिर्फ सांप्रदायिक राजनीति ही देखने को ही मिली। अब दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण की समस्या पर नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (NGT) ने केजरीवाल सरकार पर 50 करोड़ रुपए का जुर्माना ठोक दिया है। यह जुर्माना प्रदूषण फैलाने वाली कंपनियों के खिलाफ कोई कार्रवाई ना करने के कारण लगाया गया है। एनजीटी ने रिहायशी इलाकों में इन कंपनियों के संचालन पर गहरी नाराजगी जताई है। एनजीटी ने प्रदूषण फैलाने वाली इन इकाइयों को तुरंत बंद कराने का निर्देश दिया था, लेकिन दिल्ली सरकार ने इस पर कोई खास कार्रवाई नहीं की। इससे नाराज होकर एनजीटी ने दिल्ली सरकार के खिलाफ 50 करोड़ रुपए का जुर्माना ठोक दिया है।

आइये हम केजरीवाल द्वारा किए गए वादों को सच्चाई की धरातल पर परखते हैं। 

प्रदूषण नियंत्रण में नाकाम
केजरीवाल सरकार ने राजधानी में प्रदूषण पर लगाम और सार्वजनिक परिवहन व्यवस्था मजबूत करने का वादा किया था। आलम यह है कि इस दिशा में कोई खास योजनाएं नहीं दिखी। ऑड-इवेन फॉर्मूला दो बार प्रयोग में लाया गया, लेकिन बिना तैयारी के ये विफल हो गईं।

मोहल्ला क्लिनिक
आम आदमी पार्टी ने अपने घोषणापत्र में बेहतर स्‍वास्‍थ्‍य सुविधाओं वाली 1000 मोहल्‍ला क्‍लीनिकों के निर्माण का वादा किया था, लेकिन इन साढ़े तीन वर्षों में अब तक महज 180 स्‍थापित हुई हैं, जिनमें 168 ही काम कर रही हैं। अगर तीन सालों की रफ्तार से देखें तो हर साल साठ मोहल्ला क्लीनिकों का निर्माण हुआ है। यानि पांच साल पूरा होते होते महज तीन सौ मोहल्ला क्लीनिक ही तैयार हो पाएंगे।

दो लाख पब्लिक टॉयलेट
2015 के घोषणापत्र में आम आदमी पार्टी ने दो लाख पब्लिक टॉयलेट के निर्माण का वादा किया गया था, लेकिन पिछले साढ़े तीन साल में केवल 21 हजार सामुदायिक टॉयलेट का निर्माण ही हुआ है। यानि टॉयलेट बनने की रफ्तार को देखें तो दो साल में और 14 हजार टॉयलेट बनेंगे। इसका मतलब यह हुआ कि महज 35 हजार टॉयलेट ही बन पाएंगे। दूसरी ओर दिल्ली शहरी आश्रय सुधार बोर्ड ने अभी तक महज 29 फीसदी टॉयलेट का निर्माण कराया यानि 1314 के लक्ष्य की तुलना में महज 384 ही बन पाया।

11 हजार नई बस
आम आदमी पार्टी ने दिल्ली में 11 हजार नई बसें चलाने का वादा किया था। इसके साथ ही पांच नई बस डिपो का प्रस्‍ताव भी रखा था, लेकिन अभी इस मामले में क्या हुआ अब तक पता नहीं चल रहा। अलबत्ता दिल्ली सरकार जमीन को समस्या बताकर इससे मुंह मोड़ती दिख रही है।

20 नये डिग्री कॉलेज
उच्‍च शिक्षा गारंटी स्‍कूल के तहत केजरीवाल ने 20 नये डिग्री कॉलेज खोलने का वादा किया था। साढ़े तीन साल पूरे हो गए पर ये वादा अभी तक अभी पूरा नहीं हुआ है। इतना ही नहीं इस बाबत सरकार से कोई बात पूछी जाती है तो वह इसका जवाब भी नहीं देती है।  

पूरी दिल्ली में सीसीटीवी
आम आदमी पार्टी ने दिल्ली में अपराध रोकने के लिए वादा किया था कि पूरी दिल्ली को सीसीटीवी कैमरों से लैस किया जाएगा, लेकिन ये वादा भी वह अभी तक पूरा नहीं कर पाई।

पूरी दिल्ली में वाई-फाई
अरविंद केजरीवाल ने चुनाव के दौरान पूरी दिल्ली में वाई-फाई लगाने का वादा किया था, लेकिन साढ़े तीन साल बाद भी ये वादा पूरा नहीं हुआ। 

बसों में सीसीटीवी-मार्शल 
डीटीसी और कलस्टर बसों में न तो सीसीटीवी और न ही कोई मार्शल की व्यवस्था हो पाई।

अवैध कॉलोनियां नियमित होंगी
अरविंद केजरीवाल ने कहा था कि दिल्ली में सभी अवैध कॉलोनियों को नियमित किया जाएगा, जबकि अभी भी करीब 1639 कॉलोनी नियमित नहीं की गई हैं।

महिलाओं को प्रतिनिधित्व नहीं
आम आदमी पार्टी ने महिलाओं को उचित सम्मान देने का वादा किया था, लेकिन आलम यह है कि आज भी सरकार के कैबिनेट में कोई महिला मंत्री नहीं है। इतना ही नहीं जीआरसी यानी लिंग संसाधन केंद्र और महिला हेल्पलाइन नंबर 181 को निष्क्रिय कर दिया गया है।

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