पश्चिम बंगाल में भारतीय जनता पार्टी की ताकत दोगुना हो गई है। वहां की जनता ने कम्युनिस्ट पार्टी को घुटनों के बल ला दिया है। कांग्रेस मुक्त भारत के नारों के बीच पश्चिम बंगाल में कांग्रेस का जीवन वेंटिलेटर पर आ गया है। पश्चिम बंगाल से आए उपचुनाव परिणाम ने यह बात साबित कर दिया है। पश्चिम बंगाल के उलुबेरिया संसदीय क्षेत्र और नोआपोरा विधानसभा क्षेत्र में उपचुनाव हुए। दोनों जगहों पर भले ही भाजपा की जीत नहीं हुई लेकिन पहली बार दोनों सीटों पर दूसरे स्थान पर रही। पिछले चुनाव के मुकाबले वोट शेयर में बहुत तेजी से इजाफा हुआ है।
उलुबेरिया संसदीय क्षेत्र उपचुनाव
उलुबेरिया संसदीय क्षेत्र में आम चुनाव 2014 के समय भाजपा को 1,37,137 वोट मिले थे, वहीं उपचुनाव 2018 में भाजपा को 2,93,046 वोट मिले। इसी सीट पर कम्युनिस्ट पार्टी को पिछले चुनाव में 3,69,563 वोट के मुकाबले 1,38,892 वोट मिले। कांग्रेस की हालत तो सबसे नाजुक दौर में पहुंच गई। कांग्रेस को मात्र 23,109 वोट मिले और यहां उसकी जमानत जब्त हो गई। जमानत जब्त होने से बचने के लिए न्यूनतम जितना वोट चाहिए उसका पांचवां हिस्सा भी वोट जनता ने नहीं दिया। काजमानत भारतीय जनता पार्टी की दोगुणी हुई है।
पश्चिम बंगाल उलुबेरिया संसदीय क्षेत्र उपचुनाव 2018 | ||
पार्टी | आम चुनाव 2014 | उपचुनाव 2018 |
टीएमसी | 5,70,598 | 7,67,556 |
भाजपा | 1,37,069 | 2,93,046 |
सीपीएम | 3,69,563 | 1,38,892 |
कांग्रेस | 67,826 | 23,109 |
नौआपोरा विधानसभा क्षेत्र उपचुनाव
पश्चिम बंगाल के नौआपोरा विधानसभा क्षेत्र के उपचुनाव में जनता कांग्रेस को छोड़ टीएमसी के साथ चली गई। यहां कांग्रेस ने न केवल सीट गंवाया बल्कि जमानत भी जब्त हो गई। वर्ष 2016 में कांग्रेस को 79,548 वोट मिले थे जबकि इस बार 10,527 वोट मिले। टीएमसी को 78,453 वोट मिले थे, इस बार एक लाख से अधिक वोट मिले। भाजपा को पहले 23,579 वोट मिले थे जबकि इस बार 38,711 वोट मिले।
पश्चिम बंगाल के नौआपोरा विधानसभा क्षेत्र उपचुनाव 2018 | ||
पार्टी | साल 2016 | उपचुनाव 2018 |
कांग्रेस | 79,548 | 10,527 |
टीएमसी | 78,453 | 1,01,729 |
भाजपा | 23,579 | 38,711 |
सीपीएम | कांग्रेस को समर्थन | 35,497 |
पश्चिम बंगाल निकाय चुनाव में बीजेपी-जीजेएम गठबंधन का शानदार प्रदर्शन
मई, 2017 में आए सात नगर निगमों के चुनाव नतीजों ने ममता बनर्जी को परेशान कर दिया। पश्चिम बंगाल के स्थानीय निकाय चुनाव में बीजेपी-जीजेएम गठबंधन ने शानदार प्रदर्शन किया। सीट के मामले में बीजेपी-जीजेएम ने ज्यादा सीटें जीतकर अपनी मजबूत उपस्थिति दर्ज करा दी है। सात स्थानीय निकायों में कुल मिलाकर टीएमसी को 62 सीटें मिली हैं जबकि बीजेपी-जीजेएम गठबंधन को ममता से 10 ज्यादा कुल 72 सीटें मिली हैं। कांग्रेस सिर्फ पांच सीटें जीतने में कामयाब हो पायी है।